“परीक्षा पे चर्चा 2023″ में छात्रों, शिक्षकों और अभिभावकों के साथ बातचीत के दौरान प्रधानमंत्री के संबोधन का मूल पाठ

नई दिल्ली (IMNB). नमस्ते! शायद इतनी ठंड में पहली बार परीक्षा पे चर्चा हो रही है। आमतौर पर फरवरी में करते है। लेकिन अब विचार आया कि आप सबको 26 जनवरी का भी लाभ मिले, फायदा उठाया ना जो बाहर के है उन्होंने। गए थे कर्तव्य पथ पर। कैसा लगा? बहुत अच्छा लगा। अच्छा घर जाकर क्या बताएंगे? कुछ नहीं बताएंगे। अच्छा साथियों समय ज्यादा लेता नहीं हूं, मैं लेकिन मैं इतना जरूर कहूंगा कि परीक्षा पे चर्चा मेरी भी परीक्षा है। और देश के कोटि-कोटि विद्यार्थी मेरी परीक्षा ले रहे हैं। अब मुझे ये परीक्षा देने में खुशी होती है, आनंद आता है, क्योंकि मुझे जो सवाल मिलते हैं, लाखों की तादाद में। बहुत proactively बच्चे सवाल पूछते हैं, अपनी समस्या बताते हैं, व्यक्तिगत पीड़ा भी बताते हैं। मेरे लिए बड़ा सौभाग्य है कि मेरे देश का युवा मन क्या सोचता है, किन उलझनों से गुजरता है, देश से उसकी अपेक्षाएं क्या हैं, सरकारों से उसकी अपेक्षाएं क्या हैं, उसके सपने क्या हैं, संकल्प क्या है। यानी सचमुच में मेरे लिए ये बहुत बड़ा खजाना है। और मैं तो मेरे सिस्टम को कहा हुआ है कि इन सारे सवालों को इकट्ठा करके रखिए। कभी 10-15 साल के बाद मौका मिलेगा तो उसको social scientists के द्वारा उसका analysis करेंगे और पीढ़ी बदलती जाती है वैसे, स्थितियां जैसे बदलती जाती है वैसे, उनके सपने, उनके संकल्पों, उनकी सोच कैसे बहुत माइक्रो तरीके से बदलती हैं। इसका एक बहुत बड़ा thesis शायद ही इतना सिंपल किसी के पास नहीं होगा, जितना आप लोग मुझे सवाल पूछकर भेजते हैं। चलिए लंबी बातें नहीं करते हैं। मैं चाहूंगा कि कहीं से शुरू करें, ताकि हर बार मुझे एक शिकायत आती है कि साहब ये कार्यक्रम बहुत लंबा चलता है। आपका क्या मत है? लंबा चलता है। लंबा चलना चाहिए। अच्छा मुझे और कोई करना नहीं है। अच्छा ठीक है, आप ही के लिए हूं। बताइएं क्या करेंगे, कौन पहले पूछते हैं? प्रस्तुतकर्ता– दुनिया को बदलने की तमन्ना हो अगर, दुनिया को बदलने की तमन्ना हो अगर। दुनिया को नहीं खुद को बदलना सीखें। माननीय प्रधानमंत्री जी, आपका प्रेरक एवं ज्ञानवर्धक उद्बोधन सदैव हमें सकारात्मक ऊर्जा एवं विश्वास से भर देता है, आपके बेहद अनुभव एवं ज्ञानपूर्ण मार्गदर्शन की हम सब उत्सुकता से प्रतिक्षा कर रहे हैं। माननीय आपके आशीर्वाद एवं अनुमति से हम इस कार्यक्रम का शुभारंभ करना चाहते हैं। धन्यवाद मान्यवर। माननीय प्रधानमंत्री जी अपनी समृद्ध सांस्कृतिक विरासत और स्थापत्य सौंदर्य के लिए प्रसिद्ध शहर मदुरई से अश्विनी एक प्रश्न पूछना चाहती है। अश्विनी कृपया अपना प्रश्न पूछिए। अश्विनी– Hon’ble Prime Minister Sir, Namaskar. My Name is Ashwini. I am a student of Kendriya Vidyalaya No. 2 Madurai, Tamil Nadu. My…