Lok Sabha Election: पीएम मोदी के बयान के बाद एक बार फिर पूर्व पीएम मनमोहन सिंह का 2006 का बयान चर्चा में आ गया है. पूर्व पीएम ने 9 दिसंबर 2006 को राष्ट्रीय विकास परिषद की 52वीं बैठक पर भाषण दिया था.
Manmohan Singh Speech: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को राजस्थान के बांसवाड़ा में एक चुनावी रैली को संबोधित करते हुए कांग्रेस पर हमला करने के लिए पूर्व पीएम मनमोहन सिंह के 2006 के भाषण का सहारा लिय. उन्होंने कहा कि पूर्व पीएम मनमोहन सिंह की सरकार ने हिंदुओं से संपत्ति छीनकर मुसलमानों में बांटने की वकालत की थी. पीएम ने कहा कि कांग्रेस के घोषणापत्र में यही वादा किया गया. इस दौरान पीएम मोदी ने कहा, ”मनमोहन सिंह की सरकार ने कहा था कि देश के संसाधनों पर पहला अधिकार मुसलमानों का है.”
कांग्रेस की अर्बन नक्सल सोच की नजर अब मेरी माताओं-बहनों के मंगलसूत्र पर है। क्या ऐसी कांग्रेस पर मेरे परिवारजन कभी भरोसा करेंगे। pic.twitter.com/sdPRObgbha
ऐसा पहली बार नहीं है कि जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी चुनावी रैली में मनमोहन सिंह का जिक्र किया हो. वहीं, इस मामले में कांग्रेस ने पीएम मोदी पर पलटवार करते हुए शर्मनाक टिप्पणी बताया. कांग्रेस नेताओं ने यहां तक पूछ लिया कि क्या पीएम मोदी की मानसिक स्थिति सही हैं?
इस देश का प्रधानमंत्री बेहद झूठा है. लेकिन आज नरेंद्र मोदी ने मर्यादा की वो सीमा लांघ डाली जो पाप है
‘मंगलसूत्र’ पर गंदी वाहियात टिप्पणी करके उन्होंने दाम्पत्य के सबसे पवित्र प्रतीक का अपमान किया है. हर ब्याहता का अपमान किया है
देश अब अपने मुद्दों पर करेगा वोट- राहुल गांधी
इस दौरान कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि पहले चरण के मतदान में निराशा हाथ लगने के बाद नरेंद्र मोदी के झूठ का स्तर इतना गिर गया है कि घबरा कर वह अब जनता को मुद्दों से भटकाना चाहते हैं, जिसके कारण उन्हें ऐसी टिप्पणियां करनी पड़ीं और देश अब अपने मुद्दों पर वोट करेगा, अपने रोज़गार, अपने परिवार और अपने भविष्य के लिए वोट करेगा. मगर, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने अपने भाषण में ऐसा क्या कहा जिसका जिक्र पीएम मोदी बार-बार कर रहे हैं?
मनमोहन सिंह का राष्ट्रीय विकास परिषद 2006 का भाषण
पीएम मोदी ने मनमोहन सिंह के जिस बयान का जिक्र किया, वो 9 दिसंबर 2006 को प्रधान मंत्री रहते मनमोहन सिंह ने राष्ट्रीय विकास परिषद की बैठक में दिया था. तब उन्होंने कहा था कि अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति समुदायों, पिछड़े वर्गों, अल्पसंख्यकों के लोगों के उत्थान के लिए संसाधनों का आवंटन किया जाना चाहिए. मनमोहन सिंह ने अपने भाषण में कहा था कि भारत को अल्पसंख्यकों, विशेषकर मुस्लिम अल्पसंख्यकों के विकास की योजना इस तरह से बनाने की जरूरत है कि वे समान रूप से सशक्त हों.
इस कार्यक्रम में कृषि, सिंचाई और जल संसाधन, स्वास्थ्य, शिक्षा, ग्रामीण बुनियादी ढांचे में महत्वपूर्ण निवेश, और सामान्य बुनियादी ढांचे की जरूरत सार्वजनिक निवेश आवश्यकताओं के साथ-साथ एससी/एसटी, अन्य पिछड़े वर्गों, अल्पसंख्यकों और महिलाओं और बच्चों के उत्थान के लिए होनी चाहिए. पूर्व पीएम ने कहा था कि हमें यह सुनिश्चित करने के लिए नई योजनाएं तैयार करनी होंगी कि अल्पसंख्यकों, विशेष रूप से मुस्लिम अल्पसंख्यकों को विकास के लाभों में समान रूप से साझा करने का अधिकार हो. संसाधनों पर उनका पहला दावा होना चाहिए केंद्र के पास असंख्य अन्य जिम्मेदारियां हैं जिनकी मांगों को संसाधन उपलब्धता के भीतर फिट करना होगा.
BJP ने UPA सरकार पर साधा था निशाना
हालांकि, इस मामले पर बीजेपी का कहना है कि “मुसलमानों” से संबंधित भाग को हटा दिया गया था और तब से इसे एक अलग बयान के रूप में शेयर किया गया था. उस वक्त विपक्ष में रही बीजेपी ने इसे लेकर यूपीए सरकार पर निशाना साधा था. विवाद बढ़ने के बाद, यूपीए सरकार ने अगले दिन एक स्पष्टीकरण जारी किया था, जिसमें पीएमओ का कहना था कि बयान की जानबूझकर गलत व्याख्या की गई है. वहीं, तब की तत्कालीन यूपीए सरकार ने अपने स्पष्टीकरण में आगे कहा था कि इससे समाज के बेहतर वर्गों को लाभ होगा, यह सरकार की जिम्मेदारी है कि वह कमजोर और हाशिए पर रहने वाले वर्गों के कल्याण पर विशेष ध्यान दे.
भूत पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कई मौकों पर कहा है कि” भारत को अवश्य चमकना चाहिए, लेकिन सभी के लिए चमकना चाहिए. हालांकि, सोशल मीडिया पर अब 20 सेकंड की एक क्लिप साझा की जा रही है, जिसमें केवल उस हिस्से को उजागर किया गया है जहां मनमोहन सिंह मुस्लिम समुदाय का जिक्र करते हैं.